सीएसआईआर-एनआईएससीपीआर ने सांप्रदायिक सद्भाव सप्ताह और झंडा दिवस 2022 मनाया

नई दिल्ली फेस्टिवल फ्लैश न्यूज

सीएसआईआर-राष्ट्रीय विज्ञान संचार एवं नीति अनुसंधान संस्थान (सीएसआईआर-एनआईएससीपीआर) सांप्रदायिक सद्भावना अभियान सप्ताह मना रहा है जिसकी शुरुआत 19 नवंबर 2022 से हुई थी। इसका समापन 25 नवंबर 2022 को झंडा दिवस के साथ हुआ। सीएसआईआर-एनआईएससीपीआर ने इस कार्यक्रम का जश्न मनाने के लिए विभिन्न गतिविधियों का आयोजन किया है।

सीएसआईआर-राष्ट्रीय विज्ञान संचार एवं नीति अनुसंधान संस्थान (सीएसआईआर-एनआईएससीपीआर) सांप्रदायिक सद्भावना अभियान सप्ताह मना रहा है जिसकी शुरुआत 19 नवंबर 2022 से हुई थी। इसका समापन 25 नवंबर 2022 को झंडा दिवस के साथ हुआ। सीएसआईआर-एनआईएससीपीआर ने इस कार्यक्रम का जश्न मनाने के लिए विभिन्न गतिविधियों का आयोजन किया है।

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सीएसआईआरएनआईएससीपीआर के प्रशासनिक नियंत्रक श्री आरकेएस रोशन ‘संघर्ष एवं समाधान‘ विषय पर व्याख्यान देते हुएमुख्य वैज्ञानिक श्री एच जे खान ने सत्र की अध्यक्षता की

जागरूकता फैलाने के लिए नई दिल्ली में सीएसआईआर-एनआईएससीपीआर के दोनों परिसरों में पोस्टर प्रदर्शित किए गए हैं। प्रशासनिक नियंत्रक श्री आर.के.एस. रौशन ने 24 नवंबर 2022 को सीएसआईआर-एनआईएससीपीआर में मुख्य व्याख्यान दिया। उनके भाषण का शीर्षक ‘संघर्ष एवं समाधान’-भारतीय अनुभव’ था। उन्होंने भारत में ऐतिहासिक समय से लेकर वर्तमान तक के विभिन्न संघर्षों पर अपने संबोधन के माध्यम से दी गई महत्वपूर्ण जानकारी से श्रोताओं को मंत्रमुग्ध कर दिया और विभिन्न मुद्दों को हल करने का प्रयास किया। श्री आर.के.एस. रौशन श्रोताओं को “मिले सुर मेरा तुम्हारा” वीडियो के माध्यम से 80 के दशक के समय में वापस ले गए।

सीएसआईआर-एनआईएससीपीआर के मुख्य वैज्ञानिक श्री हसन जावेद खान ने सत्र की अध्यक्षता की। यह कार्यक्रम सीएसआईआर एनआईएससीपीआर में तकनीकी सहायक श्री अनिल कुमार द्वारा नेशनल फाउंडेशन फॉर कम्युनल हार्मनी (एनएफसीएच) पर एक संक्षिप्त विवरण के साथ शुरू हुआ और सीएसआईआरएनआईएससीपीआर के सहायक अनुभाग अधिकारी श्री राजीव कुमार द्वारा धन्यवाद प्रस्ताव के साथ समाप्त हुआ। एकेडमी ऑफ साइंटिफिक एंड इनोवेटिव रिसर्च (एसीएसआईआर) के कई स्टाफ सदस्यों एवं छात्रों ने कार्यक्रम में भाग लिया, जिसे एमएस टीमों के माध्यम से ऑनलाइन स्ट्रीम भी किया गया था। सभी स्टाफ सदस्यों को उदारता से सामाजिक उद्भव हेतु दान करने के लिए प्रोत्साहित किया गया है। शीर्ष तीन दाताओं का आभार प्रकट किया जायेगा।

 

सीएसआईआरएनआईएससीपीआर के प्रशासनिक नियंत्रक श्री आरकेएस रोशन ‘संघर्ष एवं समाधान‘ विषय पर व्याख्यान देते हुएमुख्य वैज्ञानिक श्री एच जे खान ने सत्र की अध्यक्षता की

जागरूकता फैलाने के लिए नई दिल्ली में सीएसआईआर-एनआईएससीपीआर के दोनों परिसरों में पोस्टर प्रदर्शित किए गए हैं। प्रशासनिक नियंत्रक श्री आर.के.एस. रौशन ने 24 नवंबर 2022 को सीएसआईआर-एनआईएससीपीआर में मुख्य व्याख्यान दिया। उनके भाषण का शीर्षक ‘संघर्ष एवं समाधान’-भारतीय अनुभव’ था। उन्होंने भारत में ऐतिहासिक समय से लेकर वर्तमान तक के विभिन्न संघर्षों पर अपने संबोधन के माध्यम से दी गई महत्वपूर्ण जानकारी से श्रोताओं को मंत्रमुग्ध कर दिया और विभिन्न मुद्दों को हल करने का प्रयास किया। श्री आर.के.एस. रौशन श्रोताओं को “मिले सुर मेरा तुम्हारा” वीडियो के माध्यम से 80 के दशक के समय में वापस ले गए।

सीएसआईआर-एनआईएससीपीआर के मुख्य वैज्ञानिक श्री हसन जावेद खान ने सत्र की अध्यक्षता की। यह कार्यक्रम सीएसआईआर-एनआईएससीपीआर में तकनीकी सहायक श्री अनिल कुमार द्वारा नेशनल फाउंडेशन फॉर कम्युनल हार्मनी (एनएफसीएच) पर एक संक्षिप्त विवरण के साथ शुरू हुआ और सीएसआईआर-एनआईएससीपीआर के सहायक अनुभाग अधिकारी श्री राजीव कुमार द्वारा धन्यवाद प्रस्ताव के साथ समाप्त हुआ। एकेडमी ऑफ साइंटिफिक एंड इनोवेटिव रिसर्च (एसीएसआईआर) के कई स्टाफ सदस्यों एवं छात्रों ने कार्यक्रम में भाग लिया, जिसे एमएस टीमों के माध्यम से ऑनलाइन स्ट्रीम भी किया गया था। सभी स्टाफ सदस्यों को उदारता से सामाजिक उद्भव हेतु दान करने के लिए प्रोत्साहित किया गया है। शीर्ष तीन दाताओं का आभार प्रकट किया जायेगा।

सूचना :- यह खबर संवाददाता   के द्वारा अपडेट की गई है। इस खबर की सम्पूर्ण जिम्मेदारी संवाददाता जी की होगी। www.loktantraudghosh.com लोकतंत्र उद्घोष या संपादक मंडल की कोई जिम्मेदारी नहीं होगी।

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